Gurugram News Network- नगर निगमों, नगर परिषदों व नगर पालिकाओं में सरकार द्वारा काम नहीं तो वेतन नहीं का सिद्धांत लागू कर दिया गया है। इसके तहत ड्यूटी से अनुपस्थित रहने वाले व हड़ताल करने वाले कर्मचारियों को उस अवधि का वेतन नहीं दिया जाएगा। इस बारे में गुरुग्राम के नागरिक भी बार-बार यही मांग कर रहे थे कि हड़ताल करने वाले कर्मचारियों को उस अवधि का वेतन न दिया जाए।
इस बारे में शहरी स्थानीय निकाय विभाग द्वारा आदेश जारी कर दिए गए हैं। जारी आदेशों में प्रदेश के सभी निगमों के आयुक्तों, नगर परिषदों के कार्यकारी अधिकारियों तथा नगर पालिकाओं के सचिवों से कहा गया है कि वे अपने यहां काम नहीं तो वेतन नहीं का सिद्धांत लागू करें। सरकार के संज्ञान में आया है कि ड्यूटी से अनुपस्थित रहने वाले या हड़ताल करने वाले कर्मचारियों को वेतन दे दिया जाता है, लेकिन अब ऐसा नहीं किया जाएगा और सभी अधिकारी काम नहीं तो वेतन नहीं के सिद्धांत की पालना सुनिश्चित करेंगे। आदेशों में यह भी स्पष्ट किया गया है कि अगर हड़ताल अवधि के दौरान का वेतन दिया गया, तो संबंधित अधिकारियों के खिलाफ भी अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी।
नगर निगम गुरुग्राम क्षेत्र सफाई कर्मचारियों की चल रही हड़ताल को देखते हुए अब शांतिपूर्ण प्रदर्शन हेतु जगह चिन्हित कर दी गई है। नागरिकों को हो रही परेशानी को देखते हुए जिलाधीश द्वारा धारा-144 लागू की गई तथा शांतिपूर्ण प्रदर्शन के लिए सेक्टर-37 में जगह चिन्हित कर दी गई है। इस बारे में नगरपालिका कर्मचारी संघ के प्रधान को नगर निगम गुरुग्राम द्वारा पत्र भेज दिया गया है। भेजे गए पत्र में कहा गया है कि प्रशासन द्वारा शांतिपूर्ण प्रदर्शन हेतु उनके लिए सेक्टर-37 स्थित खुला मैदान चिन्हित कर दिया गया है।
इस स्थान के अलावा, अन्य स्थान पर प्रदर्शन नहीं किया जा सकेगा, क्योंकि नगर निगम गुरुग्राम के पुराने कार्यालय में धरना प्रदर्शन के कारण कार्यालय में अपने रोजमर्रा के कार्यों के लिए आने वाले आम नागरिकों को परेशानी होती है। इसके अलावा, सभी सफाई कर्मचारियों से एक बार फिर अपील की गई है कि वे अपने काम पर वापिस आकर अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करें।