ऑनलाइन गेम व सट्टा खिलाने वाले कॉल सेंटर का भंडाफोड़, मास्टर माइंड समेत नौ गिरफ्तार
पुलिस को सूचना मिली कि सोहना स्थित जीएलएस होम्स सोसाइटी में कुछ लोग कॉल सेंटर चलाकर ऑनलाइन गेमिंग एप के माध्यम से गेम व सट्टा खिलाकर बैंकों में रुपये ट्रांसफर करवाकर धोखाधड़ी कर रहे हैं। जिस पर एसीपी साइबर क्राइम प्रियांशु दीवान के निर्देशन व साइबर क्राइम वेस्ट थाना प्रभारी इंस्पेक्टर नवीन के नेतृत्व में एसआई सचिन, एसआई कुलदीप की टीम ने जीएलएस होम सोसाइटी में रेड की।
Gurugram News Network – साइबर थाना पुलिस ने ऑनलाइन गेम पर सट्टा खिलाने वाले एक कॉल सेंटर का भंडाफोड़ किया। कॉल सेंटर में करते हुए नौ लोगों को गिरफ्तार किया है। आरोपी सोहना स्थित जीएलएस होम्स सोसाइटी से कॉल सेंटर चलाकर ऑनलाइन गेमिंग एप के माध्यम से गेम व सट्टा खिलाकर बैंकों में रुपये ट्रांसफर करवाकर धोखाधड़ी करते थे। पुलिस ने आरोपियों से तीन लैपटॉप, 38 मोबाइल फोन, 25 बैंक खाता किट और 22 एटीएम कार्ड बरामद किए हैं।
पुलिस को सूचना मिली कि सोहना स्थित जीएलएस होम्स सोसाइटी में कुछ लोग कॉल सेंटर चलाकर ऑनलाइन गेमिंग एप के माध्यम से गेम व सट्टा खिलाकर बैंकों में रुपये ट्रांसफर करवाकर धोखाधड़ी कर रहे हैं। जिस पर एसीपी साइबर क्राइम प्रियांशु दीवान के निर्देशन व साइबर क्राइम वेस्ट थाना प्रभारी इंस्पेक्टर नवीन के नेतृत्व में एसआई सचिन, एसआई कुलदीप की टीम ने जीएलएस होम सोसाइटी में रेड की। यहां पर नौ लोग लैपटॉप व मोबाइल फोन का प्रयोग करके ऑनलाइन गेमिंग एप के माध्यम से ऑनलाइन गेम खिलाते हुए मिले।
नौ आरोपियों को काबू कर लिया और उनके खिलाफ साइबर क्राइम वेस्ट थाना में केस दर्ज कर लिया। पुलिस ने आगामी पूछताछ के लिए आरोपियों को अदालत में पेश करके पुलिस हिरासत रिमांड पर लिया है। आरोपियों की पहचान सोनीपत के मनीष, हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा निवासी तोषण कुमार, यूपी के उन्नाव निवासी बबलू, फतेहाबाद के सागर, संयम मेहता, मोहित गेरा, राकेश, अनमोल गिलहोत्रा व अजय कुमार के रूप में हुई।
पुलिस पूछताछ में पता चला कि आरोपी सागर कॉल सेंटर का काम संभालता है। जबकि अन्य आरोपियों को नौकरी पर रखा हुआ था। आरोपी लोगों को आईडी बनाकर दे देते थे और लोगों से रुपये डलवाकर एप के माध्यम से ऑनलाइन गेम/सट्टा खिलाते थे। ऑनलाइन गेमिंग के माध्यम से धोखाधड़ी करने के लिए प्रयोग किए जाने वाले बैंक अकाउंट कॉल सेंटर का संचालक सागर उपलब्ध करवाता था। आरोपी यह कॉल सेंटर पिछले लगभग दो माह से चला रहे थे। आरोपियों को यह काम करने के बदले लगभग 20 हजार रुपये सैलरी और पांच फीसदी कमीशन मिलता था।